Monday, November 23, 2009

किस्मत


स्वर्ग और नरक के बीच में लटक गया
क्या करू अब मै जमी पर अटक गया
निकला था मैं स्वर्ग जाने को मगर
जाने कैसे रास्ता मैं भटक गया

किए थे कई पुण्य पिछले जन्म मे मैंने
उनके फल से स्वर्ग का टिकट कट गया
जाने कौनसा पाप बीच मे गया
रस्ते मे ही मेरा भेजा सटक गया

स्वर्ग जाना था मुझे, पर ये क्या होगया
जाने कौन मुझे इस धरती पर पटक गया
शायद स्वर्ग किस्मत को मंज़ूर नही था
इसलिए मैं स्वर्ग और नरक के बीच लटक गया


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